धाकड़ न्यूज: प्रदेश के मुख्य सचिव अनुराग रस्तोगी ने कहा कि निजी व सरकारी स्कूलों में गुणवत्ता का अंतर मिटाने के लिए राज्य सरकार 25 नए मॉडल संस्कृति स्कूल खोलने की योजना पर काम कर रही है। राज्य सरकार प्रदेश में हर 10 किलोमीटर पर एक मॉडल संस्कृति स्कूल खोलने के लिए प्रयासरत है।अनुराग रस्तोगी ने कहा कि मॉडल संस्कृति व सार्थक स्कूलों का मकसद कम खर्च में ग्रामीण-शहरी छात्रों को निजी स्कूलों से बेहतर शिक्षा देना है, ताकि हर प्रतिभाशाली बच्चा आगे बढ़ सके।
दरअसल, मुख्य सचिव अनुराग रस्तोगी सोमवार को पंचकूला जिले के बरवाला खंड के गांव बतौड़ स्थित पीएम श्री राजकीय मॉडल संस्कृति वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय में 12वीं कक्षा के विद्यार्थियों के साथ संवाद कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। इस अवसर पर उन्होंने पीएम श्री राजकीय मॉडल संस्कृति वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय बतौड़ को नवाचार संबंधी गतिविधियों को बढ़ावा देने के उद्देश्य से अपने वेतन से 51 हजार रुपये देने की घोषणा भी की। उन्होंने कहा कि इन स्कूलों के पीछे सरकार का उद्देश्य ग्रामीण व शहरी क्षेत्रों के विद्यार्थियों को निजी स्कूलों की तुलना में कम खर्च में बेहतर शिक्षा उपलब्ध कराना है।
मुख्य सचिव ने कहा कि कई बार आर्थिक स्थिति खराब होने के कारण बच्चे निजी स्कूलों में नहीं पढ़ पाते और उनकी प्रतिभा दब कर रह जाती है।सरकार ने उस प्रतिभा को निखारने और बच्चों को शिक्षा का अच्छा मंच देने के लिए आदर्श संस्कृति और सार्थक मॉडल स्कूल बनाए हैं ताकि बच्चे निजी स्कूलों की बजाय सरकारी स्कूलों में आकर अपना भविष्य निमार्ण कर सकें।
मुख्य सचिव ने जिले के विभिन्न सरकारी स्कूलों के विद्यार्थियों से बातचीत की तथा विद्यार्थियों द्वारा पूछे गए प्रश्नों के उत्तर बहुत ही सरल तरीके से दिए।उन्होंने बताया कि वे स्वयं भी सरकारी स्कूल में पढ़कर आईएएस बने तथा आज मुख्य सचिव के पद तक पहुंच चुके हैं।
एक सवाल के जवाब में मुख्य सचिव ने कहा कि परिवार एवं शिक्षकों की प्रेरणा, आत्मविश्वास एवं एकाग्रता के साथ अध्ययन करके विद्यार्थी कोई भी लक्ष्य प्राप्त कर सकता है।उन्होंने स्कूलों के प्रिंसीपलों व अध्यापकों से अपील की कि वे बच्चों को से बातचीत करें और प्रेरित करें ताकि उनमें आत्मविश्वास बढ़े और वे अपने मन की बात साझा कर सकें।

Author: haryanadhakadnews
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